एलियंस असली हैं(Aliens are real)?, क्या सच में UFO होते हैं? , यह सत्य है या अफवाह, इस विषय में कुछ भी पूर्ण रूप से नहीं कहा जा सकता। धरती वासियों के द्वारा इस, न पहचाने जाने वाली चीज को UFO(Unidentified flying object) का नाम दे दिया है। आकाश में उड़ती इस अज्ञात वस्तु की कहानियां ज्यादातर लोगों द्वारा सुनी गयी होंगी। किन्तु पिछले 30-40 सालों में UFO को लगातार देखने की बाते सामने आती रही हैं। इंटरनेट में ऐसी कई वीडियो मिल जाएँगी जिनको गलत कह पाना, उनकी प्रमाणिकता को नकार पाना मुश्किल हैं। किन्तु इन वीडियो में अधिकांश या 90% वीडियो सच से बहुत दूर हैं।
उड़न तस्तरी (UFO)
अभी तक लोगों द्वारा बताई गयी जानकारियों से इसकी संरचना तस्तरी के समान लगती हैं। अक्सर लोगों के द्वारा यही सुनने को मिलता हैं कि एक गोल बादल बहुत तेज़ प्रकाश के साथ गायब हो गया। और कभी इसकी संरचना धनुस के आकर की बतायी जाती हैं।
चर्चा में क्यों? (Aliens are real)
अमेरिकी रक्षा मंत्रालय अपनी कुछ जानकारी aliens को लेकर साझा करना चाहता हैं। पेंटागन और वहां के सांसदों के द्वारा जो कहा गया वह सहज नहीं हैं। हिलेरी क्लिंटन के द्वारा 2016 के राष्ट्रपति चुनाव के समय कहा गया था कि वह दुनिया के सामने Area 51 का सच सामने रखेंगी। इस क्षेत्र में किसी को जाने की इजाजत नहीं हैं। ऐसा माना जाता हैं कि इस क्षेत्र में aliens और UFO से जुड़े हुए बहुत से राज छुपे हुए हैं। कई वैज्ञानिकों के द्वारा कहा गया हैं कि अमेरिका दूसरे गृह के आदमियों के विषय में बहुत कुछ जनता हैं। दूसरे गृह के लोगों से उसकी बातें भी होती हैं। उनके पास एलियंस की बॉडी भी हैं। आखिर पूर्ण सच क्या हैं, या सिर्फ यह एक आरोप हैं। यह किसी को मालूम नहीं।
UFO की चर्चा कैसे शुरू होती हैं। (Aliens are real)
24 जून 1947 की यह पहली घटना हैं जिसने UFO को चर्चा में लाया। वाशिंगटन स्टेट में एक ज्वालामुखी पहाड़ है माउंट रेनर(mount reiner), इससे कुछ दूर आकाश में Call Air A-2 विमान उड़ रहा था इस विमान को जेनिथ ओनर नामक व्यक्ति के द्वारा उड़ाया जा रहा था। विमान उड़ाते समय इन्होने माउंट रेनर के पास एक चमकदार रोशनी देखी और यह रोशनी पलभर में वहां से गायब हो गयी। यही घटना थोड़ी देर में उनके साथ उनके बायीं ओर होती है। गौर से देखने पर उन्होंने पाया कि माउंट रेनर के पास 9 वस्तुएं एक श्रृंखला बद्ध तरीके से उड़ रही हैं। वह ध्वनि की गति से 3 गुना तेज़ी से उड़ रही थी। उनका आकर किसी विमान जैसा न होकर धनुष के समान था उड़ते समय यह वस्तुएं तस्तरी के समान लग रही थी।
अमेरिका के एक अखबार में इस खबर के छपने के बाद UFO पर बहस शुरू हो गयी इसके बाद इस तरह के मामले आते ही गए। उस समय USA और सोवियत रूस का का ही बोल बाला था दोनों में शीत युद्ध के हालत चल रहे थे। दोनों देश एक दूसरे को हराने में लगे हुए थे। ऐसे में एक संभावना यह थी कि सोवियत रूस के द्वारा कोई ऐसी टेक्नोलॉजी तो नहीं विकसित कर ली गयी जो दूसरे देशों की जानकारी से बहुत दूर हो। किन्तु ऐसी संभावना बहुत कम ही थी। जब ऐसी घटनाये USSR में भी होने लगी तो उसे भी यही सक था किन्तु बाद में वैज्ञानिकों के द्वारा सब नकार दिया गया। हालाँकि अमेरिकी खूफिया विभाग द्वारा UFO को लेकर जाँच चलती रही। दुनिया में ऐसी घटनाओं के होने की खबर आती रही है।
भारत में लेह लद्दाख का क्षेत्र भी अनगिनत रहस्यों को लेकर छिपा हुआ है इस क्षेत्र में भी UFO के विषय में घटनाओं के घटित होने की बातें कहीं जाती है। हिमाचल प्रदेश में एक जगह है चंद्रताल, यहाँ पर भी बादलों के गुब्बारे जैसी घटनाओं को ओझिल होते हुए देखा गया है। इसी प्रकार से कुछ अलग तरह की घटना को गुजरात में देखा गया। यहाँ क्रमबद्ध 9 चमकदार रोशनी को आसमान में देखा गया जिसे बहुत से लोगों ने देखने का दावा किया। किन्तु सेना और सुरक्षा एजेंसियों द्वारा इस घटना को नकार दिया गया।
अभी तक यह किसी भी तरह से साफ नहीं हुआ है कि क्या UFO हैं? अगर है तो क्या वाकई इनकी तकनीक इंसानी समझ के बाहर है। अगर यह आधुनिकता में इंसानों से कई गुना आगे हैं तो यह भी इंसानों की सुरक्षा के लिए कितना घातक है।
जब तक aliens के ऊपर कोई ठोस प्रमाण नहीं मिलता तब तक इन बातों को स्वीकार करना मुमकिन नहीं लगता। अगर USA पेंटागन की रिपोर्ट के द्वारा कुछ हकीकत सामने आती है तभी इस विषय पर कुछ समझपाना सम्भव होगा।
दूसरे गृह के प्राणियों के सच(Aliens are real) होने की कितनी सम्भावनएं हैं इसका अभी तक कोई जवाब नहीं है। किन्तु वैज्ञानिकों को इस बात का भरोषा है कि इस ब्रह्माण्ड में हमारे अलावा भी ऐसे गृह है जहाँ जीवन है और सायद जहाँ सबकुछ अलग हो। धरती पर विचित्र घटनाओं के घटित होने की कोई ठोस वजह पता लगाना, इसकी उम्मीद ही की जा सकती है। हालाँकि स्टीफन हॉकिंस जैसे वैज्ञानिक इस बात को नहीं नकारते कि एलियन सिर्फ एक परिकल्पना है।